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    सं. 52/2021/एसडीआर/खंड.I दिनांकः 26 फरवरी, 2021 सेवा में, असम, केरल, तमिलनाडु, पुडुचेरी और पश्चिम बंगाल के मुख्य निर्वाचन अधिकारी विषयः लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 60(ग) के अंतर्गत आयोग की अधिसूचना-80 वर्ष से अधिक आयु के निर्वाचकों, शारीरिक रूप से निःशक्त निर्वाचकों को डाक मतपत्र जारी करना-तत्संबंधी। महोदय, मुझे लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 60 के खंड (ग) के अंतर्गत जारी आयोग की अधिसूचना सं. 52/2021/एसडीआर/खंड.I, दिनांक 26 फरवरी, 2021 की एक प्रति इसके साथ अग्रेषित करने का निदेश हुआ है। इसे राज्य के राजपत्र में तत्काल प्रकाशित किया जाए तथा उसकी एक प्रति आयोग को भी इसके सूचनार्थ और रिकॉर्ड हेतु अग्रेषित की जाए। आपको स्मरण होगा कि इस संबंध में दिशा-निर्देश आयोग के दिनांक 02-02-2021 के पत्र के तहत पहले ही जारी किए जा चुके हैं।
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    सं. 52/2020/एसडीआर-खंड I दिनांक: 03 अक्तूबर, 2020 सेवा में मुख्य निर्वाचन अधिकारी, बिहार, पटना विषयः बिहार विधानसभा के लिए साधारण निर्वाचन-सेवा मतदाताओं के लिए डाक मतपत्रों को इलेक्ट्रॉनिक रूप से प्रेषित करने के संबंध में निर्वाचन आयोग का निदेश-तत्संबंधी। महोदय, मुझे इसके साथ निर्वाचनों का संचालन नियम, 1961 के नियम 23 के उप-नियम (1) के दूसरे परंतुक के अनुसार निर्वाचन आयोग द्वारा दिनांक 03 अक्तूबर, 2020 को जारी निदेश की प्रति इसके साथ अग्रेषित करने का निदेश हुआ है, जिसमें बिहार विधान सभा के वर्तमान साधारण निर्वाचन के दौरान सेवा मतदाताओं के लिए डाक मतपत्रों को इलेक्ट्रॉनिक रूप से प्रेषित करने की रीति निर्धारित की गई है। 2. सेवा मतदाताओं को इलेक्ट्रॉनिक रूप से डाक मतपत्रों को प्रेषित करने हेतु रिटर्निंग अधिकारी को इस निदेश की एक प्रति भेज दी जाए। इसकी संसूचना जिला निर्वाचन अधिकारियों और अन्य निर्वाचन प्राधिकारियों को भी दी जाए। रिटर्निंग अधिकारियों/जिला निर्वाचन अधिकारियों द्वारा निर्वाचन लड़ने वाले अभ्यर्थियों को भी इस बारे में अवगत कराया जाए। 3. कृपया इस पत्र की पावती भेजें। भवदीय हस्ता/- (अश्वनी कुमार मोहाल) अवर सचिव ************************ भारत निर्वाचन आयोग निर्वाचन सदन, अशोक रोड, नई दिल्ली-110001 सं. 52/2020/एसडीआर/खंड-। दिनांक: 03 अक्तूबर, 2020 निदेश निर्वाचनों का संचालन नियम, 1961 के नियम 23 के उप-नियम (1) के दूसरे परंतुक के उपबंधों के अनुसरण में निर्वाचन आयोग एतदद्वारा, सेवा मतदाताओं को इलेक्ट्रानिक साधनों द्वारा डाक मतपत्रों के प्रेषण के लिए और सेवा मतदाताओं से वापस प्राप्त हुए इन डाक मतपत्रों की गणना के लिए निम्नलिखित रीतियों का निर्धारण करता है:- 1. प्रेषित किए जाने वाले दस्तावेज – रिटर्निंग अधिकारी निम्नलिखित दस्तावेजों को इलेक्ट्रॉनिक रूप से प्रेषित करेगा: (क) डाक मतपत्र, (ख) प्ररूप 13–क–निर्वाचक द्वारा घोषणा, (ग) प्ररूप 13-ख-आवरण ए के लिए लेबल (भीतरी लिफाफा), (घ) प्ररूप 13-ग-आवरण बी के लिए लेबल (बाहरी लिफाफा) (ङ) प्ररूप 13-घ-निर्वाचक के मार्गनिर्देशन हेतु अनुदेश 2. प्रेषण की रीति - केंद्रीय प्रशासन अधिकारी (सी-एडमिन) द्वारा इलेक्ट्रॉनिक रूप से डाक मतपत्र जारी करने के संबंध में 'आरओ प्रचालन' सक्रिय कर देने के उपरांत, रिटर्निंग अधिकारी सिस्टम में लॉग-इन करने में समर्थ हो जाएगा और निम्नलिखित कार्यकलाप करेगा: क. निर्वाचन कार्यक्रम के अनुसार अपने निर्वाचन क्षेत्र के लिए डाटा प्रविष्ट 'करेगा/देखेगा' (अर्थात निर्वाचन का विवरण, निर्वाचन क्षेत्र का राज्य कोड, निर्वाचन क्षेत्र का प्रकार (विधान सभा या संसदीय निर्वाचन क्षेत्र), निर्वाचन क्षेत्र की संख्या, निर्वाचन क्षेत्र का नाम, निर्वाचन की तिथि और चिह्नित डाक मतपत्र को डाक द्वारा प्रेषित करने/वापस प्रेषित करने के लिए आरओ का पता)। ख. डाक मतपत्र के लिए डाउनलोड विंडो (अर्थात आरंभ होने की तिथि और समय तथा समाप्त होने की तिथि और समय) को प्रविष्ट 'करेगा/देखेगा'। ग. अपने निर्वाचन क्षेत्र के लिए विशिष्ट डाक मतपत्र का नमूना लोड करेगा घ. सिस्टम द्वारा जेनरेट किए गए नमूना डाक मतपत्र को देखेगा और अनुमोदित करेगा ङ. अपने निर्वाचन क्षेत्र में पंजीकृत सेवा मतदाताओं के लिए डाक मतपत्रों का पासवर्ड (पिन) तथा थोक संख्या में पासवर्ड संरक्षित डाक मतपत्र सृजित करेगा। 3. ईटीपीबी (इलेक्ट्रॉनिक रूप से प्रेषित डाक मतपत्र) को डाउनलोड करना और प्रिंट करना- (क) इलेक्ट्रॉनिक रूप से प्रेषित डाक मतपत्र (ईटीपीबी) को डाउनलोड करने के लिए सक्षम अभिलेखों का प्रभारी अधिकारी/संबंधित यूनिट अधिकारी/नोडल अधिकारी सुरक्षित ओटीपी साधनों का उपयोग करके डाक मतपत्रों को डाउनलोड करेगा। (ख) तदुपरांत, यदि संबंधित सेवा मतदाता ईटीपीबी का प्रिंट आउट लेने की स्थिति में है तो वह उसको प्रेषित किए गए पिन का उपयोग करके उसका प्रिंट आउट लेगा। अन्य मामलों में यूनिट अधिकारी/नोडल अधिकारी ईटीपीबी का प्रिंट लेगा और संबंधित सेवा मतदाता को प्ररूप 13क के प्रिंट, प्ररूप 13ख और 13ग के लिए लेबल और प्ररूप 13घ में अनुदेश के साथ ईटीपीबी सौंप देगा। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि किसी विशेष सेवा मतदाता के निमित्त ईटीपीबी और सहवर्ती दस्तावेज केवल उसी विशेष सेवा मतदाता को सौंपे जाए और न कि किसी और को। (ग) प्रत्येक सेवा मतदाता को दो लिफाफे-प्ररूप 13ख के लिए एक छोटा लिफाफा और प्ररूप 13ग के लिए एक बड़ा लिफाफा, भी दिए जाएंगे। संबंधित मुख्य निर्वाचन अधिकारी विनिर्देश के अनुसार अग्रिम रूप से पर्याप्त मात्रा में लिफाफों (भीतरी और बाहरी) की सप्लाई करेगा और अभिलेख अधिकारी/यूनिट अधिकारी/कमांडेंट अपने साथ तैनात सेवा मतदाताओं को भीतरी और बाहरी लिफाफों का जोड़ा प्रदान करेंगे। (घ) यूनिट अधिकारी/नोडल अधिकारी प्रत्येक सेवा मतदाता को सौंपे गए सभी ईटीपीबी का रिकार्ड रखेंगे। यह रिकार्ड संबंधित यूनिट में पांच वर्षों के लिए बनाए रखा जाएगा ताकि उसकी जांच करने की अपेक्षा उत्पन्न होने पर उसे किसी प्राधिकरण या न्यायालय के समक्ष जांच के लिए पेश किया जा सके। 4. मतदान और ईटीपीबी को वापस किया जाना- ईटीपीबी और सहवर्ती कागजात प्राप्त होने पर सेवा मतदाता- (क) प्ररूप 13घ में दिए गए अनुदेशों के अनुसार अपनी पसंद के अभ्यर्थी के नाम के सामने क्रास (X) या टिक (file:///C:/Temp/msohtmlclip1/01/clip_image002.png) का निशान लगाकर मतपत्र पर अपना मत चिह्नित करेगा। तब वह छोटे लिफाफे के अंदर चिह्नित मतपत्र रखेगा और लिफाफे को गोंद से बंद करके उस लिफाफे पर प्ररूप 13ख का लेबल चिपकाएगा। यदि उस लिफाफे पर पहले से मतपत्र की क्रम संख्या प्रिंट नहीं की गई है तो इस प्रयोजनार्थ प्ररूप 13ख पर दिए गए स्थान पर मतपत्र की क्रम संख्या भी लिखेगा। (ख) प्ररूप 13क में दी गई घोषणा को भरेगा और उस पर हस्ताक्षर करेगा तथा इसके अनुप्रमाणन के लिए नामोद्दिष्ट अधिकारी से उसका अनुप्रमाणन करवाएगा। (ग) बड़े लिफाफे के भीतर (i) बंद किया हुआ (गोंद से चिपकाया हुआ) छोटा लिफाफा (प्ररूप 13ख) और (ii) प्ररूप 13क में घोषणा को रखेगा और गोंद का उपयोग करके उसे बंद कर देगा। (घ) बड़े लिफाफे पर प्ररूप 13ग का लेबल चिपकाएगा और प्रेषक के हस्ताक्षर के लिए दिए गए स्थान पर अपना हस्ताक्षर करेगा। (ङ) उपलब्ध डाक साधनों के माध्यम से लिफाफे (प्ररूप 13ग) को रिटर्निंग अधिकारी को वापस भेजेगा। (च) यदि यह लिफाफा (प्ररूप 13ग) भारत के भीतर डाक प्रेषित किया गया है तो उस पर कोई डाक टिकट लगाने की आवश्यकता नहीं है। (छ) मुख्य निर्वाचन अधिकारियों द्वारा महाप्रबंधक, डाकघर को सूचित करना चाहिए कि वे प्रेषिति को स्पीड पोस्ट की डिलिवरी के लिए भेजे गए लिफाफे को स्वीकृत करें और यह भी कि उसके प्रभार मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय द्वारा अदा किए जाएंगे। 5. ईटीपीबी पर डाले गए मतों की गणना (क) अन्य डाक मतपत्रों की तरह ईटीपीबी की गणना रिटर्निंग अधिकारी की मेज पर की जाएगी। (ख) केवल उन्हीं डाक मतपत्रों की गणना की जाएगी जो मतगणना शुरू होने के लिए निर्धारित समय से पहले प्राप्त हो गए हों। (ग) लिफाफों को खोलना तथा सत्यापन- (i) प्ररूप 13-ग या लिफाफा 'ख' खोलना (बाहरी लिफाफा)- समय पर प्राप्त प्ररूप 13ग में आवरणों को सत्यापित करके एक के बाद एक खोलना चाहिए। बाहरी लिफाफे पर लगे क्यूआर कोड को कंप्यूटर साफ्टवेयर और क्यूआर कोड रीडर का उपयोग करके स्कैन किया जाएगा और आवश्यक विधिमान्यता जांच की जाएगी। बाहरी लिफाफे का सत्यापन किए जाने के बाद कंप्यूटर द्वारा एक विशिष्ट क्रम संख्या प्रदान की जाएगी। रिटर्निंग अधिकारी द्वारा इस क्रम संख्या को सत्यापित किए जा रहे लिफाफे पर भी हाथ से चिह्नित किया जाएगा। कंप्यूटर सॉफ्टवेयर प्राप्त डाक मतपत्रों की सूची में किन्हीं संभव अनुलिपियों के लिए क्यूआर कोड में प्रविष्टि की जांच करेगा और ऐसे मामलों के लिए चेतावनी का संकेत देगा। कंप्यूटर साफ्टवेयर ऐसी क्रम संख्याओं की सूची भी प्रदान करेगा जो सभी हैंडल किए जा रहे डाक मतपत्रों के डुप्लीकेट हैं। रिटर्निंग अधिकारी कंप्यूटर सॉफ्टवेयर द्वारा यथा निर्दिष्ट ऐसे सभी डुप्लीकेट लिफाफों का स्थान निर्धारण करेगा और उन्हें प्रत्यक्षत: एक साथ रखेगा तथा ऐेसे सभी डुप्लीकेट/बहुल मतों को अवैध कर देगा। अविधिमान्य घोषित किए गए ऐेसे सभी लिफाफे आगे की कार्रवाई हेतु नहीं खोले जाएंगे और एक किनारे रख दिए जाएंगे तथा भावी संदर्भ हेतु संरक्षित कर लिए जाएंगे। ऐसे डुप्लीकेट डाक मतपत्रों की संख्या रजिस्टर में दर्ज कर ली जाएगी। (ii) आवरण 'ख' (प्ररूप 13ग) खोलने पर उसके अंदर दो दस्तावेज पाए जाने अपेक्षित हैं। पहला प्ररूप 13क में मतदाता द्वारा की गई घोषणा है और दूसरा भीतरी आवरण अर्थात प्ररूप 13ख वाला डाक मतपत्र होता है। (iii) जैसे ही प्रत्येक आवरण खोला जाता है, रिटर्निंग अधिकारी को प्ररूप 13क में घोषणा और प्ररूप 13ख में आवरण को बाहर निकालना चाहिए, उसे स्कैन करना चाहिए, उसका सत्यापन करना चाहिए और तब घोषणा की संवीक्षा करनी चाहिए। (iv) प्ररूप 13ख जिसमें डाक मतपत्र रखा होता है, के आवरण को खोलने के पहले रिटर्निंग अधिकारी को प्ररूप 13क में घोषणा की जांच अवश्य करनी चाहिए और ऐसे सभी प्ररूप 13ख को खोलने और उसकी गणना करने से पहले प्ररूप 13क को अलग रखना चाहिए तथा उसे सीलबंद कर देना चाहिए। (v) रिटर्निंग अधिकारी किसी डाक मतपत्र को प्ररूप 13ख में उसके भीतरी आवरण को खोले बिना अस्वीकार कर देगा यदि: (क) प्ररूप 13-क में घोषणा आवरण में नहीं पाई जाती है, या (ख) प्ररूप 13-क में घोषणा में इलेक्ट्रॉनिक डाक मतपत्र पहचान संख्या (ई- पीबीआईडी) जारी ई-पीबीआईडी से मेल नहीं खाती है, या (ग) घोषणा पर सम्यक् रूप से हस्ताक्षर नहीं किए गए हैं और, या अनुप्रमाणित करने के लिए सक्षम अधिकारी द्वारा उसका अनुप्रमाणन नहीं किया गया है, या घोषणा में उल्लिखित डाक मतपत्र का ई-पीबीआईडी प्ररूप 13-ख में आवरण पर ई-पीबीआईडी से भिन्न हो। (vi) इस प्रकार अस्वीकृत किए गए सभी आवरण उपयुक्त ढंग से पृष्ठांकित किए जाने चाहिए और घोषणा और आवरण को प्ररूप 13-ग (बाहरी लिफाफा) में वापस रख दिया जाना चाहिए। प्ररूप 13-ग में ऐसे सभी आवरण को विधिवत रूप से सीलबंद किए गए एक अलग पैकेट में एक साथ रखा जाना चाहिए और निर्वाचन क्षेत्र का नाम, मतगणना की तिथि और अंतर्वस्तु का संक्षिप्त विवरण जैसे पूरे विवरण उस पर नोट किए जाने चाहिए ताकि उनकी आसानी से पहचान की जा सके। (vii) प्ररूप 13-क में सभी घोषणाएं सुव्यवस्थित पाई जाने पर मतगणना के लिए अलग रखी जानी चाहिए। (viii) आगे की गणना के लिए डाक मतपत्रों की गणना के सभी अनुदेश लागू होंगे। (ix) क्यूआर कोड की स्कैनिंग क्रमानुसार अवश्य की जानी चाहिए। प्ररूप 13-ग को सबसे पहले स्कैन किया जाना चाहिए, उसके बाद प्ररूप 13क और प्ररूप 13ख पर अंकित दोनों क्यूआर कोड को स्कैन किया जाना चाहिए। क्यूआर कोड स्कैनिंग का क्रम किसी भी स्थिति में परिवर्तित नहीं किया जाना चाहिए। भवदीय हस्ता/- (नरेन्द्र एन. बूटोलिया) वरिष्ठ प्रधान सचिव
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    सं.52/2020/एसडीआर-खंड-I दिनांक 03 अक्‍तूबर, 2020 सेवा में, सचिव, डाक विभाग, संचार और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय, डाक भवन, नई दिल्‍ली -110001 विषय: बिहार विधान सभा के साधारण निर्वाचन - स्‍पीड पोस्‍ट के माध्‍यम से इलेक्‍ट्रॉनिक रूप से प्रेषित डाक-मतपत्र वितरण संबंधी अनुदेश – तत्‍संबंधी। महोदय, मुझे यह कहने का निदेश हुआ है कि निर्वाचन आयोग बिहार विधान सभा के वर्तमान साधारण निर्वाचनों के दौरान सेवा मतदाताओं द्वारा मतदान करने के लिए इलेक्ट्रॉनिक रूप से डाक मतपत्र के एक-तरफा प्रेषण की सुविधा प्रदान कर रहा है। जैसाकि आप जानते हैं कि इस प्रणाली में संबंधित रिटर्निंग अधिकारी द्वारा इस कार्य के लिए नामित नोडल अधिकारियों/यूनिट अधिकारियों के माध्‍यम से सेवा मतदाताओं को इलेक्‍ट्रॉनिक रूप से डाक मतपत्र प्रेषित करने होते हैं। यहां उल्‍लेखनीय है कि सेवा मतदाता, वे निर्वाचक हैं जो सशस्‍त्र बलों, अर्ध सैन्य बलों इत्‍यादि से संबंधित हैं तथा वे व्यक्ति हैं जो भारत से बाहर किसी पद पर भारत सरकार के अधीन नियोजित हैं। डाक मतपत्र पर अपना मत रिकॉर्ड करने के बाद, सेवा मतदाताओं द्वारा इन्‍हें डाक से संबंधित रिटर्निंग अधिकारी को भेजना होगा। रिटर्निंग अधिकारी को इनकी समयबद्ध डिलेवरी सुनिश्चित करने के लिए आयोग ने निर्णय लिया है कि मतपत्र युक्‍त लिफाफों की वापसी स्‍पीड पोस्‍ट से होगी। 2. इस प्रयोजन हेतु सेवा मतदाताओं को डाक सेवा की लागत नहीं चुकानी है। डाक व्‍यय राज्‍य/जिला स्‍तर की निर्वाचन मशीनरी द्वारा डाक संबंधी खर्च वहन किया जाएगा। 3. तंत्र की सुचारू व्‍यवस्‍था के लिए आपसे अनुरोध है कि डाक मतपत्र युक्‍त लिफाफों की प्राप्ति और वितरण(सुपुर्दगी) के संबंध में सभी डाकघरों को निम्‍नलिखित अनुदेश जारी करें:- (i) डाकघर बुकिंग के समय बिना कोई प्रभार लिए स्‍पीड पोस्‍ट बुक करेंगे और लागू डाक प्रभार राज्‍य के मुख्‍य निर्वाचन अधिकारी द्वारा वहन किए जाएंगे। (ii) डाक विभाग सर्वोच्‍च प्राथमिकता के आधार पर यह सुनिश्चित करेगा कि सभी मतपत्र ट्रेकेबल हों और बिहार राज्‍य के संबंधित निर्वाचन क्षेत्र के रिटर्निंग अधिकारी को प्रदान कर दिए गए हों। यह सूचित किया जाता है कि डाक मतपत्रों की गणना के निर्धारित समय और तिथि अर्थात 10.11.2020 को प्रात: 08.00 बजे के बाद प्रदान किए गए डाक मतपत्रों की गणना नहीं की जाएगी, इसीलिए यह अति आवश्‍यक है। (iii) रिटर्निंग अधिकारियों को देने के लिए 09.11.2020 तक बुक किए गए इलेक्‍ट्रॉनिक रूप से प्रेषित डाक मतपत्रों को स्‍वीकार किया जाए, क्‍योंकि मतगणना 10.11.2020 को होगी। कृपया इस पत्र की पावती दें।
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    सं.: ईसीआई/प्रे.नो./77/2020 दिनांक: 12 अक्तूबर, 2020 प्रेस विज्ञप्ति कोविड-19 के दौरान सुगम, समावेशी और सुरक्षित निर्वाचनों की ओर बिहार में निर्वाचन अधिकारियों का डाक मत-पत्र के लिए पात्र मतदाताओं से संपर्क चरण-1 के 71 निर्वाचन क्षेत्रों में 52000 से अधिक पात्र मतदाताओं ने डाक मत-पत्र का विकल्प चुना है चूंकि, बिहार के 16 जिलों के 71 निर्वाचन क्षेत्रों में, जहां मतदान की तारीख 28 अक्तूबर, 2020 है, नाम वापस लेने की अंतिम तारीख होने के कारण, नाम-निर्देशन की प्रक्रिया आज समाप्त हो जाएगी, अत: इन निर्वाचन क्षेत्रों के बूथ लेवल अधिकारियों ने वरिष्ठ नागरिक (80 वर्ष से अधिक उम्र वाले) और दिव्यांगजन श्रेणी के चार लाख से अधिक निर्वाचकों से संपर्क किया। ऐसे बावन हजार से अधिक निर्वाचकों ने डाक मत-पत्र के जरिए मतदान करने का अपना विकल्प चुना है। प्रक्रिया में गोपनीयता, सुरक्षा और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए उचित सुरक्षा और वीडियोग्राफी के साथ रिटर्निंग अधिकारियों द्वारा इन निर्वाचकों को पूर्व सूचित तारीख(खों) को डाक मत-पत्र उपलब्ध करवाए जाएंगे। शेष निर्वाचक मतदान दिवस पर मतदान करने के लिए मतदान केंद्र आने के लिए इच्छुक हैं। यह पहला अवसर है कि बिहार निर्वाचनों में दोनों श्रेणियों को डाक मत-पत्र की सुविधा प्रदान की गई है। पूर्व में, 29 सितम्बर से 1 अक्तूबर, 2020 की अवधि में आयोग के बिहार दौरे के दौरान, उक्त श्रेणियों के मतदाताओं के लिए इस प्रावधान के कार्यान्वयन से संबंधित कतिपय सरोकारों की ओर ध्यान आकृष्ट किया गया था। इन सरोकारों पर व्यापक रूप से ध्यान देते हुए आयोग ने 3 अक्तूबर, 2020 को निदेश दिया था: “ रिटर्निंग अधिकारी द्वारा उपलब्ध कराई गई जानकारी के अनुसार, मतदान केंद्र के क्षेत्र में बीएलओ, संबंधित निर्वाचकों के घर जाएगा और संबंधित निर्वाचकों को प्ररूप 12-घ देगा। यदि कोई निर्वाचक उपलब्ध नहीं है, तो वह (बीएलओ) अपने संपर्क का विवरण छोड़कर आएगा/आएगी और इसे लेने के लिए अधिसूचना के 5 दिनों के अंदर दोबारा जाएगा/जाएगी। निर्वाचक, प्ररूप 12-घ के साथ संलग्न पावती में, डाक मत-पत्र के लिए विकल्प दे सकता है या नहीं दे सकता है। यदि, वह डाक मत-पत्र का विकल्प देता है/ देती है, तो बीएलओ भरा हुआ फॉर्म 12-घ अधिसूचना के 5 दिनों के अंदर निर्वाचक के घर से लाएगा/लाएगी और इसे अविलंब रिटर्निंग अधिकारी के पास जमा करा देगा/देगी। बीएलओ सभी पावती फॉर्म और सभी 12-घ फॉर्मों को रिटर्निंग अधिकारी के पास जमा कराएगा। रिटर्निंग अधिकारी के समग्र पर्यवेक्षण के तहत सेक्टर अधिकारी इसका पर्यवेक्षण करेगा।” बिहार में उत्तरवर्ती दो चरणों में होने वाले निर्वाचनों और अन्य सभी राज्यों के उप-निर्वाचनों में, यह कवायद जारी रहेगी, ताकि कोविड-19 अवधि के दौरान इन श्रेणियों के लिए निर्वाचन प्रक्रिया अधिकाधिक सुगम, समावेशी और सुरक्षित रहे। बिहार में होने वाले अगले दो चरणों के निर्वाचनों में, बीएलओ इस प्रयोजनार्थ लगभग 12 लाख निर्वाचकों के घर जाएंगे।
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    सं. 52/2020/एसडीआर/खंड । दिनांक: 28 सितम्बर, 2020 सेवा में मुख्य निर्वाचन अधिकारी, असम, बिहार, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा, झारखंड, कर्नाटक, केरल, मध्य प्रदेश, नागालैंड, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, ओडिशा, मणिपुर, और तेलंगाना विषय: लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 60 (ग) के अंतर्गत निर्वाचन आयोग की अधिसूचना–80 वर्ष से अधिक आयु के निर्वाचकों, शारीरिक रूप से नि:शक्त निर्वाचकों और कोविड-19 के कारण संगरोध में रह रहे निर्वाचकों को डाक मतपत्र जारी करना। महोदय, मुझे उपर्युक्त विषय पर निर्वाचन आयोग के दिनांक 17 सितंबर, 2020 के समसंख्यक पत्र के क्रम में यह कहने का निदेश हुआ है कि इसके साथ संलग्न दिशा-निर्देशों के पैरा 2.3 के अंतर्गत, यह उल्लिखित है कि "कोविड-19" संदिग्ध या प्रभावित व्यक्ति की श्रेणी के तहत अनुपस्थित मतदाताओं द्वारा डाक मतपत्र की सुविधा का लाभ उठाने के लिए, इस संबंध में राज्य सरकार/संघ शासित प्रदेश प्रशासन द्वारा यथाअधिसूचित, सक्षम स्वास्थ्य प्राधिकारी द्वारा जारी संबंधित संसदीय/विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के सहायक रिटर्निंग ऑफिसर को संबोधित एक प्रमाण पत्र, फॉर्म 12 घ के साथ प्रस्तुत करना होगा। 2. तदनुसार, कोविड-19 संदिग्ध/प्रभावित व्यक्ति के लिए सक्षम स्वास्थ्य प्राधिकरण द्वारा जारी किए जाने वाले प्रमाण पत्र का एक प्रोफार्मा तैयार किया गया है और यह इसके साथ संलग्न है। इसे तत्काल सभी संबंधित निर्वाचन अधिकारियों को परिचालित किया जाए। 3. डाक मतपत्र की सुविधा प्राप्त करने के इच्छुक कोविड-19 की संदिग्ध/प्रभावित श्रेणी में आने वाले कोई भी अनुपस्थित मतदाता प्ररूप 12घ में आवेदन करेगा और सक्षम स्वास्थ्य प्राधिकारी द्वारा विधिवत रूप से इस संलग्न प्रोफार्मा में जारी किए गए प्रमाण पत्र के साथ इसे जमा करवाएगा। 4. चूंकि डाक मतपत्र की सुविधा के लिए आवेदन, संबंधित निर्वाचन की अधिसूचना की तारीख के बाद 5 दिनों के भीतर आरओ को मिल जाना चाहिए, अत: सक्षम स्वास्थ्य प्राधिकारी को राज्य सरकार/संघ शासित प्रदेश प्रशासन द्वारा तत्काल अधिसूचित किया जाएगा। 5. आयोग के उपर्युक्त अनुदेश, उनके अनुपालन हेतु सभी संबंधितों के ध्यान में लाए जाएंगें।
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    सं. 52/2020/एसडीआर/खंड । दिनांक: 17 सितंबर, 2020 सेवा में मुख्य निर्वाचन अधिकारी, 1. बिहार 2. असम 3. छत्तीसगढ़ 4. गुजरात 5. हरियाणा 6. झारखंड 7. कर्नाटक 8. केरल 9. मध्य प्रदेश 10. नागालैंड 11. तमिलनाडु 12. उत्तर प्रदेश 13. पश्चिम बंगाल 14. ओडिशा 15. मणिपुर, और 16. तेलंगाना विषय: लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 60 (सी) के अंतर्गत आयोग की अधिसूचना – 80 वर्ष से अधिक आयु के निर्वाचकों, शारीरिक रूप से नि:शक्त निर्वाचकों और कोविड-19 के कारण संगरोध में रह रहे निर्वाचकों को डाक मतपत्र जारी करना। महोदय, मुझे उद्धृत विषय पर आयोग की दिनांक 17 सितंबर, 2020 की दो अधिसूचनाएं सं. 52/2020/एसडीआर/खंड-। इसके साथ अग्रेषित करने का निदेश हुआ है। इसे राज्य के राजपत्र में तत्काल प्रकाशित किया जाए और उसकी प्रतियां आयोग को भी अग्रेषित की जाएं। वरिष्ठ नागरिक (एवीएससी), पीडब्ल्यूडी (एवीपीडी) और कोविड-19 (एडीसीओ) की श्रेणी में अनुपस्थित मतदाताओं द्वारा डाक मतपत्र के माध्यम से मतदान हेतु अपनाई जाने वाली प्रक्रिया की एक प्रति भी इसके साथ संलग्न है। कृपया पावती दें। आपका (एन.टी. भूटिया) सचिव Secretary

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eci-logo.pngभारत निर्वाचन आयोग एक स्‍वायत्‍त संवैधानिक प्राधिकरण है जो भारत में निर्वाचन प्रक्रियाओं के संचालन के लिए उत्‍तरदायी है। यह निकाय भारत में लोक सभा, राज्‍य सभा, राज्‍य विधान सभाओं और देश में राष्‍ट्रपति एवं उप-राष्‍ट्रपति के पदों के लिए निर्वाचनों का संचालन करता है। निर्वाचन आयोग संविधान के अनुच्‍छेद 324 और बाद में अधिनियमित लोक प्रतिनिधित्‍व अधिनियम के प्राधिकार के तहत कार्य करता है। 

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